
बहत्तर ताबूत की जियारत को उमड़ा अक़ीदतमंदों का सैलाब
“””””एक एक ताबूत की जियारत को बेताब रहे अज़ादार””””””
“”””””अज़ाखाने से कर्बला तक दौड़ते हुए ज़ुलजनाह की मंज़रकशी देखने को दूर दराज़ से जुटे अक़ीदतमंद”””””
नैनी थानांतर्गत दादूपुर में।
हुसैनी कमेटी की ओर से कर्बला के बलिदानी हज़रत इमाम हुसैन व अन्य इक्हत्तर शहीदों को खेराजे अक़ीदत पेश करने को बहत्तर ताबूत का जुलूस निकाला गया।
जुलूस में क़ाफेला बनी असद व दौड़ते हुए ज़ुलजनाह की मंज़रकशी भी कि गई।
अनीस जायसी के निज़ामत (संचालन) में ताजदार अब्बास ने मर्सीयाख्वानी तो ज़ाकिर हुसैन ने सोज़ख्वानी के ज़रीए बहत्तर शहीदों को याद किया ।
मौलाना इंतेज़ार आब्दी ने मजलिस को सम्बोधित किया।
मौलाना सैय्यद नज़र अब्बास सेथल ने एक एक ताबूत का परिचय करवाते हुए ताबूत बरामद कराया।
आखरी मजलिस को मौलाना मोहम्मद हुसैन दादूपुर ने सम्बोधित किया।
बहत्तर ताबूत के साथ अलम ज़ुलजनाह ,हज़रत अली असग़र का झूला गुलाब व चमेली के फूलों से सजा कर निकाला गया। अक़ीदतमंदों ने फूल माला चढ़ा कर मन्नत व मुरादें मांगी।
सभी ताबूत व अन्य तब्बरुक़ात को कर्बला ले जाया गया।जहां अक़ीदत के फूलों को सुपुर्द ए लहद किया गया।
मोहम्मद रज़ा , ताजदार अब्बास ,कैफ अली ,अली हुसैन , मोहम्मद अब्बास ,नावेद अकबर ,रेहान ,नेयाज़ हुसैन , मोहम्मद अली ,रिज़वान ,नौशाद ,शैज़ अली ,फैज़ान ,ज़ायर हुसैन ,इफ्तेखार हुसैन ,असग़र अली , मोहम्मद रज़ा ,लख्ते असग़र आदि शामिल रहेl